लखनऊ। पुलिस हिरासत में कारोबारी मोहित पांडेय की मौत के बाद सोमवार को उनके परिजनों ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की। पीड़ित परिवार ने मुख्यमंत्री से अपना दर्द बयां किया। मुख्यमंत्री ने पीड़ित परिवार को दस लाख रुपये, आवास, बच्चों की निःशुल्क शिक्षा व शासन की योजनाओं का लाभ दिलाने का निर्देश दिया। सीएम योगी ने पीड़ित परिवारीजनों को आश्वासन दिया कि दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी। किसी भी सूरत में दोषी बख्शे नहीं जाएंगे।

सीएम ने मोहित के परिजनों को दस लाख की आर्थिक सहायता प्रदान की

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सरकारी आवास पर सोमवार सुबह मोहित पांडेय की मां तपेश्वरी देवी, पत्नी व बच्चे पहुंचे। यहां उन्होंने मुख्यमंत्री के समक्ष अपना दर्द रखा। मुख्यमंत्री ने मोहित के परिजनों को दस लाख रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की। साथ ही आवास, बच्चों की निःशुल्क शिक्षा समेत शासन की समस्त योजनाओं का लाभ दिलाने का निर्देश दिया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि मामला उनके संज्ञान में

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से सोमवार को मुलाकात के उपरांत कारोबारी स्मृतिशेष मोहित पांडेय के परिजन संतुष्ट दिखे। मृतक मोहित की मां तपेश्वरी देवी ने कहा कि मुख्यमंत्री से मिलकर हम संतुष्ट हैं। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने कहा कि मामला उनके संज्ञान में है। इस मामले में किसी भी प्रकार की ढिलाई नहीं होगी। जांच के उपरांत जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके विरुद्ध कड़ी से कड़ी कार्रवाई होगी।मुलाकात के दौरान बख्शी का तालाब विधायक योगेश कुमार शुक्ल, पार्षद शैलेंद्र वर्मा भी मौजूद रहे।

युवक की मौत को मामला पहुंचा राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग

यूपी की राजधानी में पुलिस अभिरक्षा में मौत के दूसरे मामले में भी राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग में शिकायत दर्ज की गई है। अधिवक्ता गजेंद्र सिंह यादव ने इस मामले में मानवाधिकार आयोग में ऑनलाइन शिकायत दर्ज की है। मोहित पांडेय और उसके भाई शोभाराम को चिनहट थाने की पुलिस ने शुक्रवार देर शाम हिरासत में लिया था। पुलिस का कहना है कि रात में अचानक मोहित की तबियत खराब हो गई और उसे राम मनोहर लोहिया अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उसकी मौत हो गई । जबकि मोहित के परिजनों का आरोप है ककि मोहित की मौत पुलिस की पिटाई से हुई है और मौत के बाद उसे अस्पताल लाया गया था ।

डीसीपी पूर्वी ने बताया, पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मौत का कारण स्पष्ट नहीं

डीसीपी पूर्वी शशांक सिंह ने बताया कि पोस्टमार्टम रविवार को डॉक्टरों के पैनल से कराया गया। वीडियोग्राफी और फोटोग्राफी भी की गई। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मौत का कारण स्पष्ट नहीं हो सका। डॉक्टरों ने हृदय व विसरा सुरक्षित रखा है। मामले की विवेचना इंस्पेक्टर गोमतीनगर विस्तार सुधीर अवस्थी को दी गई है। रविवार को वे चिनहट थाने पहुंचे और जांच शुरू की। वहीं, पोस्टमार्टम रिपोर्ट के अनुसार मोहित के सिर, हाथ, कमर और पीठ पर चोट के निशान हैं। इनको लेकर सवाल पर डीसीपी पूर्वी शशांक सिंह का कहना है कि ये निशान थाने आने से पहले हुई मारपीट के हैं।

चिनहट थाने में तैनात पुलिसकर्मियों की भूमिका की हो रही जांच

पुलिस आयुक्त अमरेंद्र सिंह सेंगर ने इंस्पेक्टर चिनहट अश्वनी कुमार चतुर्वेदी को निलंबित कर दिया है। उनकी जगह पर गाजीपुर थाने में तैनात दरोगा भरत कुमार पाठक को नया थानाध्यक्ष बनाया गया है। चिनहट थाने में तैनात और पुलिस वालों की भूमिका की जांच की जा रही है। जल्द ही और पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई हो सकती है।

पति मर गया…ये पैसा मेरे किस काम का

प्रदर्शन के दौरान ही बीकेटी से भाजपा विधायक योगेश शुक्ला भी पहुंच गए। उन्होंने परिजनों को उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया।विधायक योगेश शुक्ला ने एक लाख रुपये की मदद दी तो पत्नी ने विरोध करते हुए कहा-पति मर गया…ये पैसा मेरे किस काम का। पत्नी ने यह कहते हुए विधायक के दिए पैसे मोहित के शव पर रख दिए।इसके बाद पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे लोगों को हटाया और शव घर भिजवा दिया। भाजपा विधायक योगेश दोबारा मोहित के घर पहुंचे और एक लाख रुपये की आर्थिक मदद दी। शाम को पुलिस की मौजूदगी में भैंसाकुंड में अंतिम संस्कार कर दिया गया।

कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने भाजपा पर साधा निशाना

हिरासत में हुई मौत को लेकर कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा ने रविवार को भाजपा पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि सत्तारूढ़ दल ने राज्य में ऐसा जंगल राज स्थापित कर दिया है कि पुलिस क्रूरता का पर्याय बन गई है। प्रियंका गांधी ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में कहा, लखनऊ में यूपी पुलिस ने दो युवकों को हिरासत में लिया और अगली सुबह एक की मौत हो गई।

एक पखवाड़े में यूपी पुलिस की हिरासत में यह दूसरी मौत है। परिवार का आरोप है कि पुलिस ने उनके बेटे को मार डाला। उन्होंने दावा किया कि हिरासत में मौतों के मामले में उत्तर प्रदेश देश में पहले स्थान पर है। कांग्रेस महासचिव ने कहा, जहां कानून के रक्षक ही लोगों की जान ले रहे हों, वहां जनता किससे न्याय की उम्मीद रखे।

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