आठ वर्ष पूर्व नाबालिग लड़की को डरा धमाका कर उसके साथ दुष्कर्म किए जाने के मामले में आरोपी दुद्धी विधायक रामदुलार के विरुद्ध जारी गिरफ्तारी वारंट को सोमवार को सुनवाई करते हुए अपर सत्र न्यायाधीश द्वितीय राहुल मिश्रा की अदालत ने कड़ी हिदायत के साथ निरस्त कर दिया। हालांकि कोर्ट के कटघरे में करीब दो घंटे तक विधायक को खड़े रहना पड़ा। विधायक को गिरफ्तार न करने वाले म्योरपुर के दरोगा को भी तलब किया गया है।

यह था पूरा मामला

अभियोजन पक्ष के मुताबिक म्योरपुर थाना क्षेत्र के एक गांव निवासी व्यक्ति ने थाने में दी तहरीर में आरोप लगाया था कि 4 नवंबर 2014 को शाम 7 बजे उसकी नाबालिग बहन रोती हुई आई और पूछने पर बताया कि वह अब मुंह दिखाने लायक नहीं रह गई है। बहन ने बताया कि प्रधान पति रामदुलार (वर्तमान में दुद्धी विधायक हैं) ने कई बार डरा धमका कर उसके साथ दुष्कर्म किया है। किसी तरह से भाग कर आई हूं। इस तहरीर पर पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर मामले की विवेचना किया और पर्याप्त सबूत मिलने पर विवेचक ने कोर्ट में चार्जशीट दाखिल किया है।

इस मामले में 25 जनवरी को अगली सुनवाई की जाएगी

इस मामले में कोर्ट ने दुद्धी विधायक रामदुलार के विरुद्ध गिरफ्तारी वारंट जारी करते हुए 23 जनवरी को दुद्धी विधायक को गिरफ्तार कर कोर्ट में हाजिर कराने का आदेश सोनभद्र एसपी को दिया था। दुद्धी विधायक रामदुलार अपने अधिवक्ता के साथ कोर्ट में दोपहर बाद करीब दो बजे हाजिर हुए। जिन्हें कोर्ट के कटघरे में खड़ा करा दिया गया। सुनवाई करते हुए कोर्ट ने इस हिदायत के साथ कि हमेशा नियत तिथि पर कोर्ट में हाजिर आते रहेंगे। सरकारी वकील सत्यप्रकाश त्रिपाठी ने बताया कि विधायक का बयान धारा 313 के तहत दर्ज कर लिया गया। इस मामले में 25 जनवरी को अगली सुनवाई की जाएगी।

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