लखनऊ। एसटीएफ यूपी को कूट रचित दस्तावेज लगाकर बैंक से करोड़ों रुपये गबन करने के सम्बन्ध में थाना शाहपुर, जनपद गोरखपुर में पंजीकृत मुकदमा मेें वांछित अभियुक्त को गिरफ्तार किया है। अभियुक्त का नाम रुद्रांश पाण्डेय पुत्र राजेश कुमार निवासी फ्लैट संख्या 404, ग्रीन वैली नकहा नंबर एक राप्ती नगर, थाना शाहपुर, गोरखपुर है। एसटीएफ ने इसके कब्जे से एक टोयोटा फारच्यूनर, एक लैपटाप, नौ आधार कार्ड,दस पैन कोर्ड, छह एटीएफ कार्ड, 25 चेक बुक, दो पास बुक, नौ सील मुहर, आठ मोबाइल, चार पेन ड्राइव, एक लैपटाप चार्जर, एक माऊस, एक ड्राइविंग लाइसेंस, एक न्यायालय प्रपत्र व अन्य कूट रचित दस्तावेज बरामद किया है।

एसटीएफ को काफी दिनों से मिल रही थी फर्जीवाड़ा करने की सूचना

एसटीएफ को सूचना प्राप्त हो रही थी की फर्जी,कूटरचित दस्तावेजों के आधार पर लोन कराकर लोन को जमा नहीं किया जा रहा है तथा उसे एनपीए खाते में डाल दिया जा रहा है। इस सम्बन्ध में थाना शाहपुर जनपद गोरखपुर दो मुकदमा दर्ज कराया गया था। अभिसूचना संकलन एवं कार्रवाई के लिए एसटीएफ फील्ड इकाई गोरखपुर को निर्देशित किया गया। जिसके क्रम में पुलिस उपाधीक्षक धर्मेश कुमार शाही के पर्यवेक्षण में सत्य प्रकाश सिंह, निरीक्षक, एसटीएफ फील्ड इकाई, गोरखपुर टीम द्वारा अभिसूचना संकलन की कार्रवाई प्रारम्भ की गयी।

अभियुक्त के खिलाफ गोरखपुर में दर्ज हैं दो मुकदमा

अभिसूचना संकलन के दौरान मुखबिर खास से सूचना प्राप्त हुई कि उक्त दोनों मुकदमे का मुख्य व वांछित अभियुक्त स्पोर्टस कालेज होते हुए लखनऊ भागने की फिराक मे है। इस सूचना से दोनों उपरोक्त मुकदमें के विवेचक को अवगत कराया गया। 22 जनवरी को रात साढ़े नौ बजे स्पोर्ट कालेज चैराहे के पास से पकड़ लिया गया, जिससे उपरोक्त बरामदगी हुई। बरामद पैन कार्डों में से रूद्रांश के नाम के अलग-अलग पिता के नाम व जन्मतिथि के फर्जी , कूटरचित पैन कार्ड थे तथा बरामद आधार कार्डों में से रूद्रांश के नाम के अलग-अलग पिता के नाम व अलग-अलग आधार नम्बर के फर्जी व कूटरचित आधार कार्ड थे।

खाली प्लाट को बन्धक रखकर बैंक से 2 करोड़ 45 लाख का लिया गृह ऋण

आवेदक व वादी मुकदमा आशुतोष कुमार मिश्रा (रिजनल हेड आईसीआईसीआई बैंक) निवासी मेडिकल रोड, थाना शाहपुर, जनपद गोरखपुर द्वारा रियाज, शरुफ, रुद्रांश पाण्डेय, अर्चना पाण्डेय व अन्य लोगों के विरुद्ध धोखाधड़ी के सम्बन्ध में थाना स्थानीय पर प्रार्थना पत्र दिया गया कि रियाज नाम के व्यक्ति (उधार कर्ता) व शरुफ सह उधारकर्ता निवासी गणेशपुरम नकहा नंबर-एक गोरखपुर द्वारा अगस्त में बालाजीपुरम राप्तीनगर में निर्मित मकान व बालाजीपुरम राप्तीनगर में 3355 वर्गफिट खाली प्लाट को बन्धक रखकर बैंक से 2 करोड़ 45 लाख रुपया गृह ऋण लिया गया। जिसमें रियाज को मेसर्स रियाज इन्टर प्राइजेज के मालिक एव उसके बेटे शरुफ को उसी फर्म में केयर टेकर के रुप में दिखाया गया।

किस्त जमा न होने पर बैंक वाले जांच को पहुंचे तो नहीं मिला प्लाट

रियाज इन्टरप्राइजेज सरकारी संस्था भारतीय खाद्य निगम को खाद्य अनाज की आपूर्ति का कार्य करती थी। उधारकर्ता द्वारा तीन किस्त का भुगतान कर किस्त देना बन्द कर दिया गया। उपरोक्त लोन की वसूली की कार्रवाई के दौरान उनके द्वारा ऋण लिये गये पते पर जाकर देखा गया तब वहां ताला लगा था तथा मकान पर रमेन्द्र नाथ तिवारी के नाम की नेम प्लेट लगी थी। पड़ोसियों के मकान के सम्बन्ध में पूछा गया तब पड़ोसियों द्वारा पुष्टी की गयी कि रियाज नाम का कोई भी व्यक्ति मकान में नहीं रहता है तथा मकान मालिक द्वारा उक्त मकान को किराये पर दिया गया है।

लोन कराने वाले की पहचान रुद्रांश पाण्डेय के रूप में पड़ोसियों ने की

उक्त के सम्बन्ध में आईसीआई बैंक द्वारा जांच के दौरान यह पाया गया कि रियाज के लोन की पैरवी एक अन्य आईसीआईसीआई बैंक के मौजूदा ऋण उधारकर्ता अर्चना पाण्डेय व रुद्रांश पाण्डेय निवासीगण मुरलीजोत, बस्ती द्वारा लोन के लिए पैरवी किया गया था। रियाज के पते पर भौतिक सत्यापन के दौरान एक व्यक्ति की उपस्थिति मौके पर थी, जिसका फोटोग्राफ पड़ोसियों को दिखाया गया तब पड़ोसियों द्वारा उक्त व्यक्ति की पहचान रुद्रांश पाण्डेय उर्फ तोष के रुप में की गयी तथा उक्त सम्पत्ति जिस पर रियाज द्वारा लोन पास कराया गया था वह रुद्रांश पाण्डेय के पिता राजेश पाण्डेय के नाम पर पायी गयी।

जांच के दौरान दस्तावेज पाएं गए फर्जी

रियाज के नाम पर खोले गये आईसीआईसीआई बैक के बचत खाता संख्या 031901537941 में बैंक द्वारा लोन की राशि ट्रासफर करने के उपरान्त एक सप्ताह के अन्दर रुद्रांश पाण्डेय की मां अर्चना पाण्डेय के केनरा बैंक के खाता संख्या 110067117507 में समस्त ऋण की रकम स्थानान्तरित कर दिया गया था। ऋण प्राप्त करने के समय उधारकर्ता द्वारा प्रस्तुत किये गये पैन कार्ड आधार कार्ड केनरा बैंक व यूनियन बैंक आईटीआर जीएसटीन उद्यम आधार नंबर व अन्य दस्तावेजो को जांच के दौरान फर्जी व कुचरचित दस्तावेज पाये गये। आवेदक के प्रार्थना पत्र के आधार पर विभिन्न धाराओं में थाना शाहपुर, जनपद गोरखपुर पंजीकृत किया गया।

इसमें और शामिल लोगों की जा रही जांच

अचार्ना पाण्डेय व रुद्रांश पाण्डेय के द्वारा धोखाधड़ी के आशय से कूटरचित दस्तावेज प्राप्त कर लोन लेने के सम्बन्ध में प्रार्थना पत्र प्राप्त हुआ कि अर्चना पाण्डेय पत्नी राजेश पाण्डेय एव उनके पुत्र रुद्रांश पाण्डेय द्वारा संयुक्त रुप से ऋण प्राप्त करने के सम्बन्ध में रुद्रांश व अर्चना पाण्डेय के आधार कार्ड व पैन कार्ड बैंक खाता तथा माहाकाल इन्टरप्राइजेज के नाम से कुटरचित दस्तावेज लगाकर दो करोड़ रुपया ऋण लिया गया तथा ऋण की अदायगी न करने के उपरान्त बैंक द्वारा उपरोक्त उधारकर्ता की तलाश किये जाने एवं दस्तावेजों का स्त्यापन कराये जाने के उपरान्त समस्त दस्तावेज कूट रचित व फर्जी पाये गये।

जिसके आधार पर थाना स्थानीय पर थाना शाहपुर, जनपद गोरखपुर मुकदमा पंजीकृत किया गया। उपरोक्त दोनों लोन को षडयंत्र के अन्तर्गत अनुमति देने की प्रक्रिया में कितने लोग शामिल हैं उनके सम्बन्ध में विवेचक द्वारा साक्ष्य एकत्र किया जा रहा है। अग्रिम विधिक कार्रवाई विवेचक द्वारा की जा रही है।

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