महाकुम्भ नगर। महाकुम्भ प्रयागराज में लगे मेला परिसर में स्थित ब्रह्मचारियों के अखाड़े श्री शंभू पंच अग्नि अखाड़ा में बुधवार को दीक्षा समारोह शुरू हो गया। मकर संक्रांति के अगले दिन अखाड़े में ब्रह्मचारियों के दीक्षा की प्रक्रिया शुरू की गई है। आदि गुरु शंकराचार्य की परंपरा से चतुर्नाम के ब्रह्मचारी इस अखाड़े में रहते हैं। प्रकाश, स्वरूप, चैतन्य और आनंद, जो एक-एक शंकराचार्य का प्रतिनिधित्व इस अखाड़े में करते हैं। चारों वेदों का अखाड़े में अध्ययन किया जाता है, जिससे वे समाज में जाएं और धर्म का प्रचार प्रसार करें।

श्री शंभू पंच अग्नि अखाड़ा में शुरू हुआ दीक्षा देने का समारोह

श्री शंभू पंच अग्नि अखाड़ा के महामंडलेश्वर संपूर्णानंद महाराज ने बताया कि इस अखाड़े में लाखों ब्रह्मचारी हैं। जो यहां ब्रह्मचारी की दीक्षा लेने के लिए आयेगा, वह पहले अखाड़े की और सनातन धर्म की परंपराओं को समझेगा। जब अखाड़े के पंचों को लगता है कि वह ब्रह्मचारी बनने के लिए परिपक्व है तो उसे ब्रह्मचारी के रूप में दीक्षित किया जाता है।

ब्रह्मचारी वह है जो धर्म का पालन करता है:संपूर्णानंद

संपूर्णानंद महाराज के अनुसार ब्रह्मचारी वह है जो धर्म का पालन करता है। जो सनातन धर्म की व्याख्या और प्रचार करेगा, उसे ब्रह्मचारी बनाएंगे। जो गृहस्थ से दूर हैं, वे यहां आते हैं। यहां बहुत सारे ब्रह्मचारी दीक्षित हुए और उन्होंने सामाजिक उपाधियां प्राप्त की। ब्रह्मचारियों को सभापति, महामंत्री, सचिव, श्रीमहंत, महंत, थानापति, कोतवाल, पुजारी पदों पर योग्यता के अनुसार नियुक्त किया जाता है।

अमृत स्नान के बाद सफाई अभियान शुरू

पौष पूर्णिमा स्नान पर्व और मकर संक्रांति के अमृत स्नान के बाद महाकुम्भ क्षेत्र को स्वच्छ करने के लिए बड़े पैमाने पर स्वच्छता अभियान शुरू कर दिया गया है। घाटों पर गंदगी को तेजी से साफ किया जा रहा है। सफाई कर्मी लगातार घाटों पर तैनात हैं और हर प्रकार की गंदगी को हटाने का कार्य जारी है।

वहीं, शौचालयों में भी स्वच्छता अभियान चलाया जा रहा है। उल्लेखनीय है कि योगी सरकार ने इस बार महाकुम्भ को स्वच्छ महाकुम्भ के रूप में स्थापित करने का संकल्प लिया है। इसी क्रम में इस बार स्वच्छता पर विशेष जोर दिया गया है। विगत 2 दिनों में महाकुम्भ में 5 लाख से ज्यादा श्रद्धालुओं ने स्नान किया है, जिसके बाद मेला प्रशासन ने स्वच्छता अभियान चलाने का निर्णय लिया है।

जगह-जगह फैली गंदगी को हटाने में जुटा प्रशासन

मेला क्षेत्र में बचे कचरे को हटाने के लिए विशेष टीमों का गठन किया गया है। श्रद्धालुओं द्वारा छोड़ी गई सामग्रियों को एकत्र कर उचित स्थान पर निस्तारित किया जा रहा है। एकत्रित कचरे को काले लाइनर बैग में जमा कर निस्तारित किए जाने की योजना पर तेजी से कार्य चल रहा है।

शौचालयों की सफाई पर विशेष अभियान

मेले के दौरान उपयोग किए गए शौचालयों की सफाई बड़े स्तर पर हो रहीहै। स्वच्छता कर्मचारियों की अतिरिक्त टीमों को इस कार्य में लगाया गया है। पार्किंग से लेकर घाटों तक स्थापित किए गए शौचालयों की स्वच्छता पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। विगत दो दिनों में बड़ी संख्या में इन शौचालयों का उपयोग किया गया है, जिसके बाद इन्हें फिर से उपयोग में लाए जाने के लिए की आवश्यकता को देखते हुए मेला प्रशासन ने उचित कार्यवाही के निर्देश दिए हैं।

श्रद्धालुओं से भी स्वच्छता की अपील

प्रशासन ने श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे मेला क्षेत्र में गंदगी न फैलाएं। उचित स्थानों पर कचरा डालें और स्वच्छता बनाए रखने में सहयोग करें। घाटों पर स्थापित पब्लिक एड्रेस सिस्टम से लगातार श्रद्धालुओं से यह अपील की जा रही है। बड़ी संख्या में श्रद्धालु भी प्रशासन की अपील पर सहयोग करते हुए कचरे को घरों पर स्थापित डस्टबिन में ले जाकर डाल रहे हैं।

श्रद्धालुओं को मिल रहा स्वच्छ और गुणवत्तापूर्ण भोजन

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशों के क्रम में महाकुम्भ में आने वाले करोड़ों श्रद्धालुओं को स्वच्छ और गुणवत्तापूर्ण भोजन उपलब्ध कराने के लिए योगी सरकार ने विशेष इंतजाम किए हैं। पूरे मेला क्षेत्र को 5 जोन और 25 सेक्टरों में बांटकर खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित की जा रही है। प्रत्येक सेक्टर में फूड सेफ्टी ऑफिसर तैनात हैं, जो परोसे जाने वाले खाद्य पदार्थों की नियमित जांच कर रहे हैं। सेक्टर 24 में संकट मोचन मार्ग पर स्थित ऑफिस से फूड सेफ्टी की सभी व्यवस्थाओं का संचालन किया जा रहा है। वहीं से खाद्य पदार्थों की निगरानी और टीमों की मॉनिटरिंग की जा रही है।

फूड सेफ्टी ऑन व्हील्स (FSW) का विशेष उपयोग

सहायक खाद्य आयुक्त ग्रेट 2 सुशील कुमार सिंह ने बताया कि श्रद्धालुओं को खराब या मिलावटी भोजन से बचाने के लिए फूड सेफ्टी ऑन व्हील्स का उपयोग किया जा रहा है। ये मोबाइल लैब्स मेला क्षेत्र में भोजन और पेय पदार्थों की ऑन-द-स्पॉट जांच कर रही हैं।

होटलों और ढाबों पर कड़ी निगरानी

होटलों, ढाबों और छोटे खाद्य स्टॉल्स पर बन रहे भोजन की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए नियमित जांच हो रही है। शिकायत मिलने पर तुरंत कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।

श्रद्धालुओं की सुरक्षा के व्यापक प्रबंध

– मेला क्षेत्र को 5 जोन में बांटकर खाद्य निगरानी।

– हर सेक्टर में फूड सेफ्टी ऑफिसर की तैनाती।

– हर 5 सेक्टर पर एक चीफ ऑफिसर की निगरानी।

– झूंसी क्षेत्र में सबसे अधिक 14 सेक्टर सक्रिय।

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