एसएमयूपीन्यूज,ब्यूरो। केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने आज प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अगुवाई वाली राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) सरकार के विकसित भारत के सपनों का पहला केंद्रीय बजट लोकसभा के पटल पर रखा। इसके साथ ही सीतारमण ने लगातार सातवीं बार बजट पेश करने का रिकॉर्ड बना दिया। इससे पहले मोरारजी देसाई के नाम लगातार छह बार बजट पेश करने का रिकॉर्ड है।
केंद्रीय बजट 2024-25 पेश करने से पहले वित्तमंत्री सीतारमण ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की। स्थापित परंपरा के तहत वित्तमंत्री केंद्रीय बजट पेश करने से पहले राष्ट्रपति भवन पहुंचीं और राष्ट्रपति से मुलाकात की। यह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का पहला बजट है। लोकसभा चुनाव के कारण अंतरिम बजट एक फरवरी, 2024 को पेश किया गया था। आज पेश किया बजट 2047 तक विकसित भारत की रूपरेखा तैयार करेगा।
पीएम गरीब कल्याण योजना को 5 साल के लिए बढ़ाया
वित्त मंत्री ने कहा ‘हमने पीएम गरीब कल्याण योजना को 5 साल के लिए बढ़ाया। इससे 80 करोड़ से अधिक गरीबों को लाभ हो रहा। रोजगार, कौशल प्रशिक्षण के लिए पीएम की पांच योजनाओं के पैकेज की घोषणा। इससे पांच साल में 4 करोड़ 10 लाख युवाओं को लाभ होगा। इन योजनाओं पर दो लाख करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।
अंतरिम बजट में हमने विकसित भारत को रोडमैप को देने का वादा किया था।’लोकसभा की कार्यवाही शुरू हो गई है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट भाषण पढ़ना शुरू कर दिया है। वित्त मंत्री ने कहा कि भारत का आर्थिक विकास दुनिया के लिए उत्कृष्ट उदाहरण है। भारत इसी तरह प्रगति की राह पर आगे बढ़ता रहेगा। मंहगाई को 4 प्रतिशत पर लाने की कोशिश हो रही है।
बजट के द्वारा अपने करीबी करोड़पतियों की मदद करेंगे: राहुल गांधी
बजट को पीएम मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल से मंजूरी मिल गई है। बजट पेश किए जाने से पहले लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी संसद पहुंचे।कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने आम बजट को लेकर कहा, ‘जो हम पिछले कई वर्षो से देखते आ रहे हैं, वही होने वाला है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने बजट के द्वारा अपने करीबी करोड़पतियों की मदद करेंगे। उनको नई जगह में निवेश करने के लिए सुविधाएं मिलेंगी। कंपनियों को बैंकों से , टैक्स से राहत मिले, इसी तरह के निर्देश हमें सुनने को मिलेगा। मध्यम वर्ग, छोटे दुकानदार और ईमानदार टैक्स पेयर को खोखले वादे के अलावा कुछ नहीं मिलेगा।’
पहली बार नौकरी पाने वालों को तोहफा
सीतारमण ने कहा, “रोजगार और कौशल विकास सरकार की नौ प्राथमिकताओं में से एक है। इसके तहत पहली बार नौकरी करने वालों को बड़ी मदद मिलने जा रही है। संगठित क्षेत्र में पहली बार नौकरी की शुरुआत करने वालों को एक महीने का वेतन दिया जाएगा। यह वेतन डीबीटी के जरिए तीन किस्तों में जारी होगा। इसकी अधिकतम राशि 15 हजार रुपये होगी। ईपीएफओ में पंजीकृत लोगों को यह मदद मिलेगी। योग्यता सीमा एक लाख रुपये प्रति माह होगी। इससे 2.10 करोड़ युवाओं को फायदा होगा।