लखनऊ। किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय (केजीएमयू) के 120वें स्थापना दिवस समारोह को संबोधित करते हुए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि चिकित्सक का व्यवहार ठीक होता है तो नर्सिंग व पैरामेडिकल का व्यवहार अपने आप ठीक हो जाता है। इसलिए चिकित्सक मरीजों के साथ ठीक व्यवहार करें। डाक्टर की सबसे बड़ी पूंजी उसकी संवेदना होती है। सर्वे भवन्तु सुखिन: की भावना से चिकित्सक काम करते हैं।

केजीएमयू में होगी डाटा सेंटर की स्थापना
मुख्यमंत्री ने शनिवार को बताया कि केजीएमयू में डाटा सेंटर की स्थापना होगी। डाटा सेंटर की स्थापना केजीएमयू की प्रतिष्ठा को बढ़ायेगा। केजीएमयू एक ऐसा संस्थान है जो कोरोना काल में सरकार की मंशा के अनुरूप काम किया। केजीएमयू के सर्जरी विभाग के लिए 377 करोड़ रुपए की धनराशि स्वीकृति हुई है। फायर शेटी के लिए बजट जारी किया गया है। लारी कार्डियोलॉजी का भी विस्तार हो रहा है। ट्रामा सेंटर की स्थापना के लिए कार्यवायी को आगे बढ़ाया जा रहा है। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि काल का प्रवाह किसी का इंतजार नहीं करता।
केजीएमयू का 120 वां स्थापना दिवस समारोह मनाया गया
केजीएमयू की स्थापना के लिए उस समय की कई रियासतों ने इसके निर्माण में सहयोग किया है। आज देश के सबसे बड़े मेडिकल संस्थान के रूप में केजीएमयू एक अग्रणी चिकित्सा संस्थान के रूप में कार्य कर रहा है। शासन की मंशा के अनुरूप 150 एकड़ के क्षेत्रफल में इसका दायरा होने जा रहा है। आज भारी भरकम फौज है। किसी व्यक्ति या संस्थान की पहचान संकट के समय होती है। सामान्य दिनों में तो सब लोग काम करते हैं, संकट के समय लोग मैदान छोड़कर भागते हुए दिखाई देते हैं। कई नई — नई सेवाएं यहां शुरू हुई हैं। वर्तमान के साथ—साथ भविष्य को देखते हुए भी अपनी तैयारी चाहिए।
मरीज को उपचार के लिए पैसे की कमी नहीं

मुख्यमंत्री ने कहा कि डबल इंजन की सरकार में भ्रष्टाचार पर प्रहार किया है। समय से अगर कोई भी कार्ययोजना शासन के पास पहुंचती है तो उसे पास किया जाता है। मरीज को उपचार के लिए पैसे की कमी नहीं है। उन्होंने कहा कि मोदी ने देश को 2027 तक विकसित भारत बनाने का लक्ष्य लिया है। मेडिकल एजूकेशन व स्वास्थ्य सेवाओं के क्षेत्र में एक मानक तय करें।इस अवसर पर उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक, चिकित्सा शिक्षा राज्यमंत्री मयंकेश्वर शरण सिंह, प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा पार्थ सारथी सेन शर्मा व केजीएमयू की कुलपति प्रो. सोनिया नित्यानंद उपस्थित रहीं।