लखनऊ । सरकारी विभागों में संविदा पर नौकरी दिलाने के नाम पर युवाओं से ठगी करने वाले युवक को आखिरकार एसटीएफ टीम ने पकड़ ही लिया। पुलिस ने पकड़े गए अभियुक्त के ऊपर पचीस हजार का इनाम घोषित कर रखा था। अभियुक्त का नाम वैष्णव कौशिक है, जिसे लखनऊ से गिरफ्तार किया गया है। यह पुलिस से बचने के लिए अपना मोबाइल फोन बंद करके अलग-अलग स्थानों पर रह रहे थे।

एसटीएफ को काफी दिनों से इसकी तलाश

एसटीएफ उत्तर प्रदेश को विगत दिनों से फरार व  पुरस्कार घोषित अपराधियों के सक्रिय होकर धोखाधड़ी कर आपराधिक घटनाएं कारित करने की सचूनाएं प्राप्त हो रही थीं। जिसके परिप्रेक्ष्य में विशाल विक्रम सिंह, अपर पुलिस अधीक्षक, एसटीएफ लखनऊ के पर्यवेक्षण मे मुख्यालय स्थित साइबर टीम को अभिसूचना संकलन एवं कार्रवाई के लिए निर्देशित किया गया था। इसी क्रम में जानकारी मिली कि थाना बेलीपार, गोरखपुर में वांछित व 25,000 रुपाये पुरस्कार घोषित अभियुक्त वैष्णव कौशिक पुत्र ध्रुवचन्द्र कौशिक जो अपनी गिरफ्तारी से बचने के लिए पुलिस से छिप कर लखनऊ में ही कहीं रह रहा है।

मुखबिर की सूचना पर चिनहट से किया गिरफ्तार

इसी क्रम में एसटीएफ टीम को मुखबिर खास द्वारा मिली सूचना के आधार पर मंगलवार को वैष्णव कौशिक पुत्र ध्रुवचन्द्र कौशिक उपरोक्त को अभियुक्त के निवास भारती पुरम कालोनी सतरिख रोड, चिनहट लखनऊ से गिरफ्तार किया गया।जिसके पास से उपरोक्त बरामदगी की गयी।

पूछताछ में गिरफ्तार अभियुक्त वैष्णव कौशिक ने बताया कि उसने प्रयागराज में रह कर मेजर कालसी कोचिंग सेन्टर कटरा प्रयागराज से सीएपीएफ व एसी की तैयारी वर्ष 2015 से 2018 तक की। परन्तु कहीं भी सेलेक्शन नहीं हुआ। इसके बाद वर्ष 2019 में वह लखनऊ में स्थित अपने मकान भारतीपुरम कालोनी,सतरिख रोड, चिनहट, जनपद लखनऊ में रहने लगा। इसी बीच उसकी मुलाकात आजमगढ़ निवासी भानू प्रताप सिंह व हिमान्शू से पालीटेक्निक चौराहे के पास पराठे वाली गली में हुई।

लोहिया अस्पताल में नौकरी दिलवाने के नाम पर कईयों से ले रखा था पैसा

भानू प्रताप सिंह व हिमान्शू उपरोक्त ने बताया कि गार-इन्फोटेक साइबर हाइट्स टावर विभूतिखण्ड को राम मनोहर लोहिया हास्पिटल में वार्ड ब्वाय व मैनपावर सप्लाई का टेन्डर मिला है। इस कम्पनी में हमारी सेटिंग है, यदि तुम्हारे पास 12वीं पास लड़के हों तो बताओ हम लोग 40,000 रुपये प्रति अभ्यर्थी संविदा पर नौकरी दिला देंगे, भविष्य में यही कर्मचारी परमानेन्ट हो जायेंगे।

मैंने अपने जानने वाले रोहित चन्द्र विश्वकर्मा से इस सम्बन्ध में बात किया कि 50,000 रुपये में राम मनोहर लोहिया हास्पिटल में वार्ड ब्वाय की नौकरी लगवा दूंगा। 10,000 रुपये प्रति अभ्यर्थी के लालच में मैंने रोहित चन्द्र विश्वकर्मा के माध्यम से लगभग 40 अभ्यर्थियों का 13,50,000 रुपये लेकर अपने खाते से हिमांशू के खाते में 11,70,000 रुपये ट्रान्सफर कर दिया। भानू व हिमान्शू गार इन्फ्राटेक से राम मनोहर लोहिया हास्पिटल में वार्ड ब्वाय की भर्ती का फार्म लेकर आये व भरवा कर अपने पास रख लिया। इसके बाद भानू व हिमान्शू दोनों अपने-अपने मोबाइल बन्द कर गायब हो गए। पुलिस से बचने के लिए स्थान बदल कर रह रहे थे। 

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