लखनऊ । यूपी की राजधानी लखनऊ में बड़ा और दर्दनाक हादसा हो गया। आलमबाग में पुरानी रेलवे कालोनी में एक मकान रात में अचनाक भरभराकर गिर गया। जिसके मलबे में दबने से पांच लोगों की मौत हो गई। मरने वालों में तीन बच्चे भी हैं।घटना की जानकारी सुबह हुई जब पड़ोसी बच्चे खेलने के लिए मृतक के बच्चों को बुलाने के लिए उसके घर पहुंचे। काफी देर तक दरवाजा खटखटाया। जब आवाज नहीं हुई तो बच्चों ने खिड़की से झांककर देखा तो अंदर का नजारा देखने के बाद दंग रहे गये। चूंकि मकान का छत छूटकर गिरा हुआ था। बताया जा रहा है कि मकान जर्जर हो चुका था। जिसको लेकर रेलवे ने पहले ही चेतावनी दी थी। घटना के बाद जिलाधिकारी सूर्यपाल गंगवार ने मौके पर पहुंचे और स्थिति का जायजा लिया। वहीं घटना को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ ने शोक जताया है।
आलमबाग रेलवे कालोनी का मामला
आलमबाग के आनन्द नगर फतेहअली चौराहे के किनारे रेलवे कालोनी में यह हादसा हुआ है।घटना देर रात की है। पूरा परिवार भोजन करने के बाद सो रहा था और रात में किसी समय मकान की छत गिर पड़ा। इसकी जानकारी सुबह जब मुहल्ले के बच्चे खेलने पहुंचे तब हुई। मुहल्लेवासियों ने हादसे की सूचना पुलिस को दी, जिसके बाद मौके पर पुलिस और एनडीआरएफ की टीम पहुंची। टीम ने मलबा हटाकर पांच लोगों को बाहर निकला और उन्हें इलाज के लिए लोकबंधु अस्पताल भेजा गया जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। मृतकों में सतीश चंद्र (40), सरोजनी देवी (35), हर्षित (13), हर्षिता (10) और अंश (5) शामिल हैं।घटना से इलाके में हड़कंप मच गया और सुबह लोगों का तांता लग गया जिसे संभालने के लिए और पुलिस बुलानी पड़ी।
मकान खाली करने के नोटिस के बाद भी रह रहा था परिवार
बताया जा रहा है कि सतीश चंद्र की मां रेलवे में चतुर्थ श्रेणी की कर्मचारी थीं। उन्हें ही यह मकान अलॉट हुआ था। वहीं, सतीश संविदा पर नौकरी कर रहे थे और अपने परिवार के साथ इसी मकान में रहते थे। मकान काफी पुराना था और पूरी तरह से जर्जर हो चुका था। स्थानीय लोगों ने बताया कि यहां कई मकान जर्जर हाल में हैं। इसको लेकर रेलवे ने यहां लोगों को मकान खाली करने का निर्देश भी दिया था। कई लोगों ने मकान खाली भी कर दिया था। सतीश को भी मकान खाली करने का नोटिस मिला था, बावजूद इसके वह अपने परिवार के साथ रह रहे थे।
घटना स्थल का जिलाधिकारी ने पहुंचकर लिया जायजा
हादसे की सूचना पर जिलाधिकारी सूर्यपाल गंगवार मौके पर पहुंचे। जिलाधिकारी ने कहा, यहां पर 64 मकान थे। सभी को पहले नोटिस जारी किया गया था। रेलवे के अधिकारियों से बात हुई है। जल्द ही बाकी मकान को खाली करवाया जाएगा। मामले की जांच और घटना के दोषियों के खिलाफ कार्रवाई के सवाल पर डीएम ने कहा कि यह रेलवे का अंदरुनी मामला है। वह लोग इसकी जांच करेंगे और जांच के आधार पर ही कार्रवाई करेंगे।इंस्पेक्टर आलमबाग शंकर महादेवन ने बताया कि कॉलोनी में मकान गिरने से एक ही परिवार के पांच लोग दब गए। जहां उनकी मौत हो गई। शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है। आगे की जांच की जा रही है।
200 परिवार रहते हैं कॉलोनी में, मकान जर्जर
उत्तर रेलवे लखनऊ मंडल की फतेह अली कॉलोनी में करीब 200 परिवार रहते हैं। कॉलोनी के ज्यादातर मकान जर्जर हैं और कंडम घोषित किए जा चुके हैं। बावजूद इसके रेलवे प्रशासन ने लोगों से मकान खाली नहीं करवाए और लोग रह रहे हैं। जिसके चलते हादसा हुआ। मृतक सलोनी की मां ने कहा, रविवार को बारिश हो रही थी। उस समय बच्चे घर आ गए थे। अभी तो ये लोग पहुंचे थे। नहीं पता था कि हादसा हो जाएगा।रिश्तेदारों ने बताया कि हर्षित पढ़ने में होनहार था। वह खेलने में भी अच्छा था। रोज सुबह क्रिकेट खेलने जाता था। वह कहता था कि मैं स्पोर्ट्स कोटे में भर्ती होकर रेलवे में बड़ा अफसर बनूंगा। हर्षित क्लास 6 में पढ़ता था। जबकि उसकी बहन हर्षिता तीसरी क्लास और कृष्णा घर पर ही रहता था।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने जताया दुख
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हादसे परदुःख जताया है. वहीं,मृतकों के परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की है.सीएम ने अधिकारियों को तत्काल मौके पर पहुंच कर राहत-बचाव कार्य मे तेजी लाने के निर्देश दिये हैं। वहीं, हादसे पर डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने गहरा दुःख जताते हुए त्वरित राहत कार्य के निर्देश दिए हैं। डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने घटना का संज्ञान लेते हुए तुरंत ही स्थानीय अधिकारियों से वार्ता कर राहत एवं बचाव कार्य में तेजी लाने के निर्देश दिए।